Kabhi To Khul Ke Baras by Chitra Singh
Kabhi To Khul Ke Baras by Chitra Singh

Kabhi To Khul Ke Baras

Chitra Singh * Track #4 On A Sound Affair

Kabhi To Khul Ke Baras Lyrics

[Intro]
कभी तो खुल के बरस अब्रे-ऐ-मेहेरबान की तरह
कभी तो खुल के बरस अब्रे-ऐ-मेहेरबान की तरह

[Chorus]
मेरा वज़ूद है जलते हुए मकान की तरह
कभी तो खुल के बरस अब्रे-ऐ-मेहेरबान की तरह

[Verse 1]
मैं एक ख्वाब सही आपकी अमानत हू
मैं एक ख्वाब सही आपकी अमानत हू
मुझे संभाल के रखिएगा जिस्म-ओ-जान की तरह

[Chorus]
मेरा वज़ूद है जलते हुए मकान की तरह
कभी तो खुल के बरस अब्रे-ऐ-मेहेरबान की तरह

[Verse 2]
कभी तो सोच के वो शख्स किस कदर था बुलंद
कभी तो सोच के वो शख्स किस कदर था बुलंद
जो बिच्छ गया तेरे कदमो मे आसमान की तरह

[Chorus]
मेरा वज़ूद है जलते हुए मकान की तरह
कभी तो खुल के बरस अब्रे-ऐ-मेहेरबान की तरह

[Verse ]
बुला रहा है मुझे फिर किसी बदन का बसंत
बुला रहा है मुझे फिर किसी बदन का बसंत
गुज़र ना जाए ये रुत भी कही खिज़ां की तरह

[Chorus]
मेरा वज़ूद है जलते हुए मकान की तरह
कभी तो खुल के बरस अब के मेहेरबान की तरह

Kabhi To Khul Ke Baras Q&A

Who wrote Kabhi To Khul Ke Baras's ?

Kabhi To Khul Ke Baras was written by .

Who produced Kabhi To Khul Ke Baras's ?

Kabhi To Khul Ke Baras was produced by Jagjit Singh.

When did Chitra Singh release Kabhi To Khul Ke Baras?

Chitra Singh released Kabhi To Khul Ke Baras on Tue Dec 31 1985.

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